Pyasa Kauwa Ki Kahani: आज हम प्यासा कौवा की कहानी के बारे में जानेंगे। बचपन में हम सभी ने प्यासा कौवा की कहानी सुनी है। जो की काफी प्रसिद्ध भी है। आए जानते आखिर यह कहानी क्या है और इससे हमें क्या सीख मिलती है। आए जानते है Thirsty Crow Story in Hindi with Moral के बारे में।
प्यासा कौवा की कहानी | Pyasa Kauwa Ki Kahani
गर्मियों के दिन थे। एक कौआ प्यासा था। उसका गला सूख रहा था। वह इधर-उधर उड़ता हुआ पानी की तलाश कर रहा था। पर उसे कहीं भी पानी नहीं दिखाई दिया। सभी जलाशय सूख गये थे। अंत में कौए को एक मकान के पास एक घड़ा दिखाई दिया। वह घड़े के पास गया। उसने उसमें झाँककर देखा।
घड़े में थोड़ा-सा पानी था। पर उसकी चोंच पानी तक नहीं पहुँच सकती थी। क्योंकि घड़े में पानी निचे था। अचानक उसे एक उपाय सूझा। वह जमीन से एक-एक कंकड़ उठाकर घड़े में डालने लगा। धीरे-धीरे घड़े का पानी ऊपर आने लगा। अब कौए की चोंच पानी तक पहुँच सकती थी। कौए ने जी भरकर पानी पिया और खुशी से काँव-काँव करता उड़ गया।
प्यासा कौवा कहानी का शीर्षक क्या है?
प्यासा कौवा कहानी का शीर्षक यह है कि हमें किसी भी परिस्थिति में हिम्मत नहीं हारनी चाहिए। चाहे कितनी भी बड़ी मुश्किल क्यों ना आ जाए। उसका उपाय मिल ही जाता है। “जहाँ चाह है, वहाँ राह है”।
FAQs about Pyasa Kauwa Ki Kahani
Q1. घड़े के जल स्तर को ऊंचा उठाने के लिए कौआ ने क्या किया?
घड़े के जल स्तर को ऊंचा उठाने के लिए कौआ ने एक-एक करके पत्थर उठाया और घड़े में डालता गया। जिससे पानी धीरे-धीरे ऊपर आने लगा।
Q2. प्यासा कौवा का शीर्षक क्या है?
प्यासा कौवा का शीर्षक यह है कि कितनी भी बड़ी समस्या क्यों ना आ जाए। हमें उसका सामना करना चाहिए। क्योंकि मेहनत करने वाले को ही सफलता मिलती है।
निष्कर्ष
मैं उम्मीद करता हूँ आपको प्यासा कौवा की कहानी (Pyasa Kauwa Ki Kahani) की कहानी पसंद आई होगी। अगर आपको Thirsty Crow Story in Hindi पसंद आई हो तो इसे शेयर जरूर कीजियेगा।